इंटरनेशनल कॉस्मिक हीलर डॉ अजय मगन (Dr. Ajay Magan) ने केंद्र सरकार से गुहार लगाई है, कि जहाँ एक और हस्पतालों में मरीजों के लिए बेड नहीं मिल रहे, ऑक्सीजन सिलेंडर की कमी है, हर जगह निराशा, डर एवं दुःख का माहौल है. ऐसे समय में डॉ अजय मगन आशा की नई किरण बखेरने की ताकत रखते है. उनके द्वारा प्राचीनतम वैदिक विज्ञानं पर जो शोध किआ गया है उसमें इस COVID19 महामारी से बचने का बहुत सरल और सटीक उपाय है. उन्होंने बताया कि अनेक स्थानों पर जाकर 4260 मरीजों को निशुल्क स्वस्थ कर चुके हैं . प्रतिदिन उसके पास 60 से 70 मरीज आते है और हर मरीज 3 से 4 दिन में ठीक हो जाता है. उन्होंने अपना पूर्ण जीवन इस सेवा के कार्य में समर्पित कर दिया है. सबसे बड़ी बात यह है कि इसके माध्यम से वह कोई धन नहीं कमाना चाहते.
Dr. Ajay Magan का दावा है कि यदि सरकार छोटे छोटे हीलिंग सेंटर्स हर शहर में बनवा दे जहाँ लोग आकर अपनी ऊर्जाओं को संतुलित कर पाये तो रोगी पैदा ही न हो. कई प्रकार की तकनीक एवं कॉस्मिक गैजेट्स का आविष्कार करने वाले डॉ अजय मगन ने बताया कि उन्होंने एक विशेष प्रकार का पिरामिड बनाया है. जिसमे हीलिंग करने वाली तरंगे एवं रौशनी भी निकलती है. जिसके समक्ष यदि कोई व्यक्ति 30 मिनट भी बैठ जाए तो उसमें रोग प्रतिरोधक क्षमताएं कई गुना बढ़ जाती है. ऐसे ही हर व्यक्ति का आभामंडल यदि मजबूत हो और शरीर के चक्र संतुलित हो तो मानव शरीर में कोई रोग उत्पन्न ही नहीं होगा.
डॉ अजय मगन का कहना है कि देश में जितने भी आईम्स (AIMS) के हस्पताल खुले हुए है, उन्हें तुरंत प्रभाव से वैदिक विज्ञान पर आधारित हीलिंग सेन्टर्स बनवा देने चाहिए. एक हीलिंग सेंटर की लागत मात्र 10 लाख रुपए आएगी जो एक सप्ताह में आरम्भ करा जा सकता है. इस प्रकार से समाज में फैल रहे रोग को समाप्त करा जा सकता है.
Dr. Ajay Magan ने यह भी कहा कि उनका एक विशेष कार्यक्रम टेलीविज़न के माध्यम प्रतिदिन का आयोजित करना चाहिए जिस के माध्यम से वो जनता को श्वास से, खुश्बू से, मिटटी से, विचारो से, शब्दों से,पानी से तथा अपनी ऊर्जा से स्वयं की हीलिंग करने के तरीके सिखा सकते है. यह मानव कल्याण का एक प्रभावी तरीका बन पाएगा.